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समय का सदुपयोग

समय एक सवाल या सवाल जैसा ही, कहते है कि एक ही चिज है जिसकी रफ्तार को कोई नही रोक सकता है और वो है समय। हां इसकि रफ्तार कभी धिमी नही पडती है और नाही कोई इसे रोक सकता है, समय लोगो के लिए एक अबुझ पहेली है जिसे लोग समझ नही पाते है और जो चिज लोगो के समझ से परे है वो बेकार होता है। कहते है कि समय जिसे खुद भगवान भी अपने वश मे नही कर पाये थे, समय का मतलब हर किसी के लिए अलग है और ये सुनकर थोडा तो अजीब लग रहा होगा लेकिन हां ये सच है।

चलिए बात करते समय के उपर एक आम इंसान के जींदगी के तीन पहलु अपने-अपने समय से आते है, पहला पहलु बचपन का समय लोगो के लिए सबसे सुखद समय, दूसरा पहलु उम्र का वो समय जब 18 वर्ष से लेकर शादि करके जिम्मेदारीयो का समय और तीसरा पहलु बुढापा का समय। अगर इसका सारांश निकाले तो हर किसी को अपने बचपन से प्यार रहा है और हर इंसान अपने बचपन मे दोबारा से झांकना चाहता है। बचपन का समय मतलब लोगो के लिए सुखद समय और कुछ अच्छी यादें, कुछ लोगो के अनुसार ये भी समय है क्योकि उनका कहना होता है ‘वो भी एक समय था जब हम बच्चे थे’।

कुछ लोगो के लिए समय का मतलब होता है एक्सट्रा समय, जैसे आप कहीं जा रहे है और आपने अपने दोस्त से कहा कि तुम भी चल रहे हो तो आपके दोस्त जबाव देता है समय नही है तो लोगो के लिए समय का एक्सट्रा समय भी होता है। समय को लेकर भारत देश मे लोग काफी सीमीत है, जैसे अगर सडक के पर कोई काम चल रहा हो तो लोगो कि भीड लग जाती है उस चिज को देखने के लिए काम हो क्या रहा है और पुरा जायजा लेंगे, अगर मुवि कि शुटिंग हो रही है तो लोगो पुरी मुवि वहीं से देखकर ही जायेंगे भारत मे समय को लेकर लोग काफी हद तक सीमीत है।

भारत देश मे समय को लेकर लोग इतने सीमीत है कि यहां पर लोगो कि आधी जींदगी ट्रैफिक मे और मैट्रो मे धक्के खाते हुए निकलते है फिर भी इन्हे कोई तकलिफ नही है। हमारे लिए ट्रैफिक ऐसा समय देना ऐसा है जैसे जींदगी को बचाने के लिए समय का दान हो रहा है, ट्रैफिक हमारे देश कि समस्या नही है। लोगो के पास इतना फालतु समय है कि देश कि आधी जनता अनलिमीटेड का रिचार्ज करवा रही है, लोगो के पास समय ही इतना फालतु है अनलिमीटेड का रिचार्ज करके अनलिमीटेड समय मे अनलिमीटेड बातें करेंगे। भारते देश मे किसी काम को करने का समय 9:30 बजे है तो इसका मतलब ये काम 10:30 मे शुरु होगी और ये हुनर सिर्फ हम भारतीयो मे ही पायी जाती है। भारत देश मे ट्रेन का तो कुछ कहना ही नही है, अगर ये कहा जाये कि भारतीय रेल का घडी खराब है तो शायद ये गलत नही होगा क्योकि आज तक इनका समय इनके खुद के समय से मेल नही करता है।

समय का महत्व शब्द भी काफी भारी है क्योकि इस बात का मतलब हर कोई समझता है लेकिन जींदगी मे अमल कर पाना हर किसी के वश मे नही होता है। कहते समय का महत्व मतलब एक अनुशासीत जींदगी, एक बार फिर मतलब एक अनुशासीत व्यक्ति ही समय के महत्व को समझेगा। हम सभी इस बात से वाकिफ है कि हमारे जींदगी का हर एक सेकंड हमारे लिए महत्वपुर्ण है, फ्रेंकलिन ने कहा था- “तुम्हे अपने जीवन से प्रेम है तो समय क व्यर्थ मत गवाओं और समय के महत्व को समझो। क्योकि जीवन इसी से बना है” अब इतने बडे विव्दान इंसान ने इतनी बडी बात बोली है तो इसमे कुछ तो सच्चाई होनी चाहिए। कहते है कि लोग बलवान नही होता है समय बलवान होता है, बात भी सही है समय से ज्यादा ताकतवर आज तक कोई नही हुआ है। हम सभी ने देखा आज का राजा कल का चोर हो गया है जैसे मे बिहार के पुर्व मुख्यमंत्री लालु यादव किसी समय पर मुख्यमंत्री रहे और आज चारा घोटाला मामले मे सजा काट रहे है। इस लिए सही कहा जाता है लोग बलवान नही होता है समय बलवान होता है।

समय के महत्व के उपर सबसे बडी किताब रामायण मे भी लिखा है कि “समय धन से कहीं अधिक महत्वपुर्ण है”। हम पढने के उम्र मे ही पैसो के पिछे भागने लगते है, जो कि बिलकुल ही गलत है क्योकि पढने के समय मे हम पैसो के पिछे भागेंगे तो हमारा फोकस किसी और के तरफ जाने लग जाता है। इसलिए ये बिलकुल ही गलत और पढने के समय मे पढाई करें, पैसा हमे अंधा बनाता है और अंधे इंसान को सिर्फ और सिर्फ अंधेरा ही दिखता है। आप मे काफी लोगो ने ये बात लोगो से सुना होगा कि पैसा बर्बाद करलो बाबु मंजुर है लेकिन समय बर्बाद मत करों क्योकि पैसा वापस से कमाया जा सकता है लेकिन समय चला गया तो वापस नही आयेगा और समय कि यही बात सबसे बुरी है।

समय का सदुपयोग का मतलब होता है, सही समय के साथ सही काम अंजाम देना समय जींदगी मे कभी-कभी नही हर बार करना चाहिए और हर जगह करना चाहिए। पढाई से लेकर नौकरी तक शादि से लेकर जिम्मेदारीयों तक हर जगह समय का सही उपयोग होना चाहिए। इंसान अपने पढाई के समय खेल-कुद मे बिता दे तो फिर उसके लिए समय वापस लौटकर नही आता है, इसलिए लोग आज के समय मे अपने बच्चो पर पढाई का दबाव बनाये रखते है। समय का सदुपयोग का मतलब होता है सही तरीके से पढाई और सही समय पर नौकरी और ऐसा तबी होता है जब पढाई के समय पढाई हुयी हो।

समय को लेकर कबीर जी अपने एक दोहा मे कहते है कि

कल करै सो आज कर, आज करे सो अव

पल मे परलय होगा बहुरि करेगा कब।

इस दोहा का मतलब है कि जो काम कल पर छोड रखा है उसे आज कर और जो आज करना है उसको अभी कर डालो, पल मे परलय हो सकता है बहुरि करेगा कब। समय का सदुपयोग हमारे जीवन को बेहतर करने का सबसे पुराना राज है, जींदगी का मोल धन नही समय है। समय वो है जो अमर है अटूट है और नाही रुकने वाला है, समय ही है जो इंसान से सबकुछ करवाता है।  

  

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